दिल्ली विश्वविद्यालय के चौथे और छठें स्टर के छात्र ऑनलाइन ओपन बुक एग्जाम की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं. डीयू में मचे इस घमासान के चलते ‘ओपन बुक एग्जाम’ शब्द चर्चा में है. कई लोगों के मन में सवाल होंगे कि ‘ओपन बुक एग्जाम’ परीक्षा का कैसा तरीका है ? ओपन बुक एग्जाम कैसे होता है आदि. साथ ही यह भी जानेंगे कि डीयू के ईवेन सेमेस्टर के छात्र ओपन बुक एग्जाम की मांग क्यों कर रहे हैं. ओपन बुक परीक्षा से उन्हें क्या लाभ है.
क्या है ओपन बुक एग्जाम
ओपन-बुक एग्जाम में छात्रों को प्रश्नों का जवाब देते समय टेक्स्ट बुक्स, नोट्स और अन्य स्वीकृत सामग्री की मदद लेने की इजाजत होती है. मतलब यह कि परीक्षा दे रहे छात्र किताब और नोट्स से उत्तर खोजकर उत्तर लिख सकते हैं. ओपन बुक एग्जाम दो तरीके से आयोजित किया जाता है. पहला ये कि छात्र विश्वविद्यालय कैंपस में ही बैठकर परीक्षा देते हैं. उन्हें पेपर और आंसर शीट दे दी जाती है. छात्र परीक्षा देते समय अपनी टेक्स्ट बुक व अन्य स्वीकृत सामग्री की मदद ले सकते हैं.
ओपन बुक एग्जाम का दूसरा तरीका है ऑनलाइन परीक्षा. छात्रों को ऑनलाइन पेपर सेट भेज दिए जाते हैं. वे विश्वविद्यालय के विशेष पोर्टल पर जाकर लॉग इन करके परीक्षा देते हैं. इस परीक्षा के दौरान भी छात्र टेक्स्ट बुक्स व नोट्स आदि की मदद ले सकते हैं. समय सीमा समाप्त होते ही ऑटोमैटिक ही पोर्टल से लॉग आउट हो जाते हैं.
ऑनलाइन ओपन बुक एग्जाम की मांग क्यों कर रहे हैं डीयू के छात्र
छात्रों का कहना है कि 75 फीसदी सिलेबस ऑनलाइन पढ़ाया गया है. जिसके चलते उन्हें ऑफलाइन एग्जाम के लिए एडजेस्ट करने का समय नहीं मिल सका है. कई छात्र कोरोना महामारी के चलते आर्थिक दिक्कतों का सामना कर रहे हैं. वे परीक्षा के लिए दिल्ली में किराए पर कमरा नहीं ले सकते. छात्रों का कहना है कि ऑड सेमेस्टर छात्रों का एग्जाम मार्च महीने में ऑनलाइन कराया गया. सिर्फ एक महीने बाद ही विवि ने अपनी पॉलिसी चेंज कर दी और ईवेन सेमेस्टर के छात्रों को ऑफलाइन एग्जाम के लिए कहा जा रहा है.