भारत में 16 मार्च को राष्ट्रीय टीकाकरण दिवस के रूप में मनाया जाता है. वहीं दो साल पहले आई कोरोना महामारी के बाद टीकाकरण और भी प्रासंगिक हो गया है. सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि विश्व के सभी देशों में अभी भी कोरोना के खिलाफ टीकाकरण किया जा रहा है. वहीं भारत में अब 12 साल से ऊपर के बच्चों के लिए भी कोविड टीकाकरण शुरू किया जा रहा है. खास बात है कि साल 2021 में कोविड टीकाकरण शुरू करने और टीकाकरण के लिए कई स्वदेशी वैक्सीन बनाने और विश्व को देने वाले भारत को आज विश्व पटल पर सराहा जा रहा है. साथ ही कोविड टीकाकरण को साल 2021 की सबसे बड़ी उपलब्धि बताया जा रहा है. इस संबंध में इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. सहजानंद प्रसाद सिंह ने विस्तार से जानकारी दी है.
डॉ. सहजानंद कहते हैं कि कोरोना से बचने के लिए दुनिया के तमाम देश में टीकाकरण चल रहा है. भारत जैसे बड़ी जनसंख्या वाले देश में चलने वाला टीकाकरण अभियान विश्व भर में सुर्खियों में है. जिस प्रतिबद्धता के साथ भारत ने टीकाकरण अभियान की शरुआत की और जन-जन की भागीदारी से एक के बाद एक मुकाम हासिल होते गए, उसकी चर्चा देश से बाहर कई वैश्विक मंचों पर होती रही है. हाल ही में भारत के कोविड टीकाकरण अभियान को लेकर अंर्तराष्ट्रीय रिपोर्ट भी जारी हुई है. कोविड19 इंडियाज वैक्सीन डेवलपमेंट स्टोरी’ और ’इंडियाज कोविड19 वैक्सीनेशन एडमिनिस्ट्रेशन जर्नी’ शीर्षक वाली दोनों रिपोर्ट में भारत के कोविड19 वैक्सीन विकास और टीकाकरण के प्रयासों की सफलता में योगदान के बारे में बताया गया है.
रिपोर्ट इस बात की विस्तृत जानकारी देती है कि किस तरह स्वदेशी टीकों का निर्माण किया गया. वैक्सीन उत्पादन के लिए बजट का अनुमोदन, प्रोटोकॉल आदि जो सुरक्षित तरीके से टीकाकरण को सुनिश्चित करता है, आदि पहलूओं को रिपोर्ट में शामिल किया गया है. रिपार्ट में टीकाकरण कार्यक्रम से जुड़े सभी महत्वपूर्ण पहलू, जानकारी और अनुभवों को भी जोड़ा गया है, जो भविष्य में महामारी प्रबंधन और सार्वजनिक स्वास्थ्य संबंधी विषयों के लिए एक अनुभव के तौर पर काम आ सकते हैं. इसके अलावा रिपोर्ट टीकाकरण के दौरान प्रतिकूल घटनाओं (एईएफआई) के प्रबंधन के लिए स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं के प्रशिक्षण और कौशल की दिशा में प्रयासों को भी दर्शाती है. टीकाकरण के लिए भारत में विश्व स्तर की सर्वोत्तम कार्यप्रणाली के रूप में कोविन डिजिटल प्लेटफॉर्म के माध्यम से टीकाकरण सत्र और प्रमाणन पोस्ट-टीकाकरण का डिजिटल शेड्यूलिंग पर प्रकाश डाला है जिसे अन्य देश भारत से सीख सकते हैं.
टीकाकरण सत्रों की गुणवत्ता, टीकाकरण प्रक्रिया के सुचारू प्रबंधन के लिए राष्ट्रीय और उप-राष्ट्रीय स्तर पर स्थापित नियंत्रण कक्षों के माध्यम से कोल्ड स्टोरेज के बुनियादी ढांचे और लॉजिस्टिक्स वास्तविक समय की निगरानी और प्रतिक्रिया का भी इस रिपोर्ट में अध्ययन किया गया है. विज्ञान में भारत की सफलता की पुष्टि करते हुए, सोशल प्रोग्रेस इंपेरेटिव के सीईओ डॉ. माइकल ग्रीन ने हर मोर्चे पर भारत की प्रतिक्रिया की सराहना की और कहा कि टीका, महामारी के खिलाफ सबसे प्रभावी उपाय है, इससे महामारी के प्रसार को काबू किया जा सकता है और मरीज ठीक हो सकते हैं. हालांकि विश्व स्तर पर फैली महामारी के चलते पैदा हुई अभूतपूर्व आपदा ने सामान्य जिंदगी को प्रभावित भी किया और इसके परिणामस्वरूप अनेक लोगों की जान चली गई, बावजूद इसके महामारी ने मनुष्य को इसका मुकाबला करने के लिए दृढ़ संकल्प और इच्छा शक्ति जगाई है.