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क्‍या कोरोना की तीसरी लहर में संक्रमित हो चुके लोग हैं सबसे सुरक्षित बता रहे हैं विशेषज्ञ

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भारत में कोरोना (Corona) के मामलों में उतार-चढ़ाव का दौर जारी है. अब एक बार फिर पिछले तीन दिनों में कोरोना मामलों में बढ़ोत्‍तरी देखी जा रही है. भारत में पिछले 24 घंटे में कोरोना के 2685 मामले देखे गए हैं. जबकि 33 लोगों की मौत हो गई है. वहीं इस दौरान 2,158 लोग कोरोना से ठीक होकर घर गए हैं. दिलचस्‍प बात है कि कोरोना के मामलों के लगातार बने रहने के साथ ही इसके वायरस में म्‍यूटेशन भी देखा जा रहा है. यही वजह है कि भारत में ओमिक्रोन वेरिएंट (Omicron Variant) के दो नए सब वेरिएंट से संक्रमित मरीज मिले हैं. ओमिक्रोन के नए नए म्‍यूटेंट को लेकर सबसे बड़ा सवाल यही है कि क्‍या ये वेरिएंट भारत के लोगों के लिए खतरा हो सकते हैं?

इस बारे में दिल्‍ली ऑल इंडिया इंस्‍टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज के पूर्व निदेशक डॉ. एमसी मिश्र कहते हैं कि कोरोना की तीसरी लहर के बाद से ही भारत में ओमिक्रोन वेरिएंट का संक्रमण देखा जा रहा है. साथ ही यह भी देखा गया कि तीसरी लहर के दौरान भारत के ज्‍यादातर लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हो चुके हैं और इन सभी के अंदर इस वायरस के खिलाफ इम्‍यूनिटी (Immunity) बन चुकी है. इतना ही नहीं भारत में वैक्‍सीनेशन भी बहुत अच्‍छा हुआ है. ज्‍यादातर लोग कोरोना वैक्‍सीन की दोनों डोज ले चुके हैं. ऐसे में वैक्‍सीनेशन (Vaccination) से पैदा हुई रोग प्रतिरोधक क्षमता भी शरीरों में मौजूद है. लिहाजा एक हद तक ये कहा जा सकता है कि वैक्‍सीनेटेड लोग जो कोरोना की तीसरी लहर में संक्रमित हो चुके हैं, वे काफी हद तक सुरक्षित हैं. ओमिक्रोन के नए सब वेरिएंट आने पर उनको कोरोना का संक्रमण तो हो सकता है लेकिन उनमें गंभीर बीमारी देखने को नहीं मिलेगी

डॉ. मिश्र कहते हैं कि संक्रमण और कोविड वैक्‍सीनेशन मिलकर लोगों के अंदर हाइब्रिड या सुपर इम्‍यूनिटी (Hybrid or Super Immunity) बना चुके हैं, लिहाजा कोरोना वायरस (Corona Virus) का असर पहले ही लोगों पर कम पड़ेगा. इसके साथ ही फिलहाल भारत ही नहीं बल्कि विश्‍व के लगभग सभी देशों में जहां कोरोना के मामले बहुत बड़ी संख्‍या में आ रहे हैं, वहां ओमिक्रोन वेरिएंट ही सामने आ रहा है. यह वही वेरिएंट है, जो भारत में लोगों को हो चुका है. अब ऐसे में चाहे इसमें कितना भी म्‍यूटेशन हो, इसके नए-नए सब वेरिएंट आ जाएं, लेकिन एक ही परिवार के होने के चलते वे कम खतरनाक होंगे. यहां तक कि डब्‍ल्‍यूएचओ (WHO) भी इन वेरिएंट को चिंताजनक नहीं मान रहा है.

इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR), नेशनल चेयर, डॉ. सीजी पंडित, डॉ. आर आर गंगाखेड़कर कहते हैं कि अभी तक भारत में कोई नया वेरिएंट रिपोर्ट नहीं हुआ है जो हुए हैं वे सभी ओमिक्रोन परिवार (Omicron Family)के ही सब वेरिएंट हैं. चाहे ओमिक्रोन का बीए.1 हो या बीए. 2, बीए.4 या बीए.5 हो. इसके अलावा हाल ही में आया एक्‍सई वेरिएंट भी इसी फैमिली का रीकॉम्‍बनेशन है जो वन और टू से मिलकर बना है. भारत में ज्‍यादातर लोग कोरोना की तीसरी लहर में ओमिक्रोन वेरिएंट से संक्रमित हो चुके हैं. इसलिए ओमिक्रोन फैमिली का अगर कोई भी वेरिएंट या रीकॉम्बिनेंट सामने आता है तो उससे यहां के लोगों को ज्‍यादा खतरा नहीं है. लोगों को इसे लेकर पैनिक करने की भी जरूरत नहीं है. हालांकि लोगों को एहतियात बरतने की जरूरत है. सावधानी रखनी होगी. मास्‍क पहनें और कोविड नियमों का पालन जरूर करें.

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